नीमच।महेन्द्र उपाध्याय। जिले के सिंगोली क्षेत्र के अम्बा ठिकाने गांव में दहेज प्रथा के खिलाफ एक प्रेरणादायक उदाहरण सामने आया है। यहां ठाकुर दलपत सिंह के पौत्र देवांश सिंह की सगाई आंकली ठिकाने की कन्या से हुई, जिसमें वर पक्ष ने दहेज को सिरे से ठुकरा कर समाज के लिए एक नई मिसाल पेश की।सगाई के परंपरागत टीके में कन्या पक्ष ने 5.21 लाख रुपये भेंट किए थे, जिसे देवांश के पिता कुंवर सिद्धार्थ सिंह शक्तावत ने तुरंत लौटा दिया। उन्होंने केवल एक रुपया और एक नारियल को शगुन के रूप में स्वीकार किया। इस नेक निर्णय की जानकारी करणी सेना के सदस्य पुष्पराज सिंह शक्तावत ने सागर मंथन को दी।समारोह में मौजूद राजपूत समाज के प्रमुख लोगों ने इस कदम की भूरी-भूरी प्रशंसा की। उनका मानना है कि यह पहल समाज में दहेज मुक्त विवाह की सोच को बढ़ावा देगी और आने वाली पीढ़ी को एक सशक्त संदेश देगी। इससे दहेज से जुड़ी कई सामाजिक समस्याओं पर भी लगाम लग सकेगी।इस अवसर पर क्षेत्र के प्रमुख ठिकानों से ठाकुर देवराज सिंह शक्तावत, ठाकुर गुलाब सिंह राठौड़, ठाकुर भेरू सिंह हाड़ा, ठाकुर गजेंद्र सिंह और ठाकुर लाखन सिंह चौहान जैसे गणमान्य लोग उपस्थित रहे।शक्तावत परिवार की इस सामाजिक पहल को क्षेत्र में खूब सराहा जा रहा है। इसे समाज सुधार की दिशा में एक महत्वपूर्ण और सकारात्मक कदम माना जा रहा है, जो दहेज के खिलाफ एक मजबूत जनजागरण का माध्यम बन सकता है।